उदयपुर। रीट पेपर लीक मामले में सोमवार को ईडी ने जयपुर सहित आधा दर्जन से अधिक जगहों पर रेड की। इसमें बाड़मेर, डूंगरपुर, अजमेर, जालोर आदि जिले शामिल हैं। आरपीएससी मेंबर बाबूलाल कटारा, पेपर लीक मामले में गिरफ्तार ठेकेदार भजनलाल विश्नोई सहित तमाम आरोपियों और संदिग्धों पर डॉक्युमेंट्स की जांच की गई। उनके ठिकानों को छावनी में तब्दील कर दिया गया है। केंद्रीय सुरक्षा बल के 50 से अधिक अधिकारी और जवान इस रेड में शामिल हुए हैं। आरपीएससी के मेंबर बाबूलाल कटारा के डूंगरपुर स्थित घर पर भी छापेमारी की कार्यवाही की गई। ईडी के अधिकारियों ने कटारा के अजमेर व डूंगरपुर में बने आवास में दस्तावेजों की जांच की।
रेड के बाद सीएम ने दी प्रतिक्रिया
इधर, ईडी की छापेमारी पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा- जहां चुनाव आने वाले होते हैं, वहां ईडी और सीबीआई की एंट्री हो जाती है। राजस्थान में एसीबी अच्छा काम कर रही है तो ईडी की एंट्री क्यों हुई? उन्होंने कहा कि मैं कहना चाहता हूं कि अगर कुछ मिले तो ईडी एसीबी की मदद करे। ईडी एसीबी से अच्छा काम करे तो मुझे खुशी होगी, लेकिन मैं ईडी के अफसरों से कहना चाहता हूं कि वे ऊपर वालों के दबाव में न आए।
जेल में आरोपियों से पूछताछ
ईडी ने आरपीएससी की ओर से आयोजित सीनियर टीचर भर्ती के पेपर लीक और रुपयों के लेन-देन पर मनी लॉन्ड्रिंग में उदयपुर सेंट्रल जेल में बंद आरोपियों से पूछताछ की थी। इस मामले में आरपीएससी सदस्य बाबूलाल कटारा, मास्टरमाइंड शेरसिंह मीणा व भूपेंद्र सारण से ईडी पूछताछ कर चुकी है। राजीव उपाध्याय, रामगोपाल मीणा, सुरेश विश्नोई, घिमनाराम खिलेड़ी, अनिता मीणा, बाबूलाल के पुत्र दीपेश कटारा, गोपालसिंह, गौतम कटारा व विजय डामोर के बयान भी दर्ज किए जा चुके हैं।