उदयपुर। सर्व ब्राहमण महासभा की ओर से 3 सितम्बर को जयपुर में ब्राह्मणों का महासंगम आयोजित होने जा रहा हैं। इसमें प्रदेश के कुल 51 हजार बूथों से समाज के बंधु भाग लेगें। इसके लिए 200 विधानसभाओं पर प्रभारी बनाये गए हैं।
सर्व ब्राह्मण महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष पंडित सुरेश मिश्रा ने बताया कि 3 सितम्बर को आने वाले महासंगम के प्रति समाज का जबरदस्त उत्साह देखने को मिल रहा है। मिश्रा ने बताया कि इस महासंगम में ब्राह्मण अस्मिता को मजबूत करने, समाज को एकजूट करने साथ ही राजनीतिक एवं सामाजिक साप से समाज की ताकत को बढ़ाना एक मात्र उद्देश्य होगा।
मुख्य एजेण्डे के रूप में 14 प्रतिशत आरक्षण देने की मांग, भगवान परशुराम विश्वविद्यालय की स्थापना, भगवान परशुराम जी की 111 फीट प्रतिमा की स्थापना, प्रत्येक जिले में गुरुकुल की स्थापना ईडब्ल्यूएम आरक्षण में हो रही विसंगतियों को दूर करना, ब्राह्मण आरक्षण आंदोलन के समय लगाये गये मुकदमों को वापिस लेना, ब्राह्मण बालिकाओं के लिये छात्रावास की स्थापना सहित अन्य प्रस्ताव इस महासंगम में लिये जायेगें।
महासभा ने समाज को एकजूट करने हेतु विभिन्न कार्यक्रम हाथ में ले रखे है। जिसमें सामूहिक विवाह, सामूहिक उपनयन संस्कार, ज्योतिष कर्मकाण्ड शिविर, छात्रवृत्ति देने सहित अनेका अनेक कार्यक्रम महासभा द्वारा किये जा रहे है। जिन्हें प्रत्येक गांव, तहसील तक पहुंचाया जाये। इस पर भी चर्चा होगी। साथ ही पुरे प्रदेश में ब्राह्मणों को राजनीतिक प्रतिनिधित्व बढे, इडब्ल्यूएस आरक्षण में राजनीतिक आरक्षण भी हो, ये सब विषय भी इस महासंगम में रखे जायेगें।
सर्व ब्राह्मण महासभा उदयपुर संभाग अध्यक्ष भगवान मेनारिया ने बताया कि महासभा ने एक लम्बी लडाई ईडब्ल्यूएस आरक्षण के लिये लड़ी थी। उस समय भी महासभा ने लाखो लाख ब्राह्मणों की आरक्षण रैलियां आयोजित की थी और सभी राजनीतिक पार्टीयों के नेताओं ने उस समय महासभा के मंच पर आकर समर्थन दिया था।
महासभा ने लक्ष्य तय किया है कि इसबार विधानसभा चुनाव में समाज का प्रतिनिधित्व बढे और समाज एकजूट होकर अपने मताधिकार का उपयोग करें। सर्व ब्राह्मण महासभा उदयपुर के जिलाध्यक्ष मथुरेश नागदा ने बताया कि इस संदर्भ में आने वाले 3 माह तक पुरे प्रदेश में महासभा के पदाधिकारी छोटे-बड़े सम्मेलन गांव, ढाणी स्तर पर करके एक विशेष कार्य योजना बनाकर लोगो जयपुर महासंगम में आमंत्रित करेगें।