उदयपुर। शहर की वैष्णों देवी के नाम से विख्यात नीमच माता के दरबार में जाने वाले मार्ग में अव्यवस्थाओं को लेकर आ रही शिकायतों के बाद प्रशासन ने सुध ली हैं। प्रशासन की ओर से नीमच माता मंदिर में वन विभाग की टीम पहुंची और जगह-जगह हो रही अव्यवस्थाओं का जायजा लिया। द मेवाड़ पोस्ट इस मुद्दे को कई बार अपनी खबरों में प्रकाशित कर चुका हैं। मंदिर में हो रही अव्यवस्थाओं को लेकर स्थानीय लोग भी कई बार प्रशासन से वहां पर कार्य करवाने की मांग कर चुके है।
भक्त देवेन्द्र सिंह सलूजा ने बताया कि जायजा लेने के बाद वन विभाग की टीम मंदिर पहुंची थी। हांलाकि इतनी शिकायतों के बाद भी आधा-अधूरा काम करवाया गया है। यहां किसी भी वक्त हादसा हो सकता है लेकिन विभाग इस पर अभी भी कोई ध्यान नहीं दे रहा हैं। जिस जगह रेलिंग टूटी हुई थी वहां पर लकड़ियों की बल्लिया लगाई गई हैं ताकि कोई घटना न हो सके।
वहीं झर्झर हो रही सिढ़ियों को देखकर वन विभाग की ओर से कहा गया है कि इन सिढ़ियों में किसी भी प्रकार की कोई दिक्कत नहीं हैं। जबकि साफ तौर पर नज़र आ रहा है कि सीढ़ियों पर लगा प्लास्टर पूरी तरह से टूट चुका हैं। प्लास्टर गिरने से सीढियों में लगे लोहे के सरिए साफ दिखाई देने लगे हैं। नवरात्रि में हजारों श्रद्धालु यहां दर्शन करने आते है ऐसे में विभाग ने सही समय पर ध्यान नहीं दिया तो मांझी की सराय में जो हादसा हुआ था वो यहां भी हो सकता हैं।
डीएफओ नॉर्थ जोन उदयपुर अजय चित्तौड़ा लगातार शिकायत मिलने के बाद वन विभाग ने मंदिर की मरम्मत के लिए यूआईटी को 8 लाख की राशि का प्रस्ताव भेजा था। यूआईटी की ओर से राशि स्वीकृत की गई लेकिन नवरात्रि का त्यौहार नजदीक है इसलिए अभी अर्जेंन्ट में कार्य नहीं करवाया जा सकता। जहां रेलिंग टूटी हुई थी वहां पर बंसिया लगा दी गई हैं। वहीं सिढ़ियो पर जो प्लास्टर लगा हुआ था उसका काम भी जल्द करवाया जाएगा। जैसे ही नवरात्रि खत्म होगी वन विभाग मरम्मत का कार्य शुरू कर देगा।